सरकार प्रदेश के प्राथमिक और माध्यमिक विद्यालयों के शिक्षकों को संस्कृत भाषा का प्रशिक्षण देगी

उत्तर प्रदेश (Uttar Pradesh) की योगी सरकार संस्कृत को बढ़ावा देने के लिए कदम उठा रही है | सरकार संस्कृत भाषा के प्रचार और प्रसार के लिए अग्रसर है | यूपी संस्कृत संस्थान (UP Sanskrit Sansthan) और राज्य शैक्षिक अनुसंधान प्रशिक्षण परिषद (State Educational Research Training Council) के साथ मिलकर सरकार प्रदेश के प्राथमिक और माध्यमिक विद्यालयों के शिक्षकों को संस्कृत भाषा का प्रशिक्षण देगी | इसके लिए ऑनलाइन गोष्ठियों का आयोजन किया जाएगा | संस्कृत भाषा के प्रसार के लिए इस अनूठी पहल की शुरूआत बुधवार से होगी | संस्थान के अध्यक्ष डॉ. वाचस्पति मिश्र (Dr Vachaspati Mishra) ने कहा कि संस्कृत भाषा सीखने की शुरूआत प्राथमिक स्तर से होनी जरूरी है | कोरोना काल में भी शिक्षक संस्कृत भाषा के प्रशिक्षण से वंचित न रहें, इसके लिए संस्थान इस बार डायट के साथ मिलकर ऑनलाइन प्रशिक्षण देगा | इसमें प्रदेश के 68 डायट केन्द्रों से शिक्षकों के लिए संस्कृत भाषा का प्रशिक्षण शिविर आयोजित कराने की सहमति मिल चुकी है |
पहले चरण में हर डायट से 100-100 शिक्षकों को संस्कृत सम्भाषण का प्रशिक्षण दिया जाएगा | इस तरह प्रदेश के करीब 6,800 शिक्षक पूरे प्रशिक्षण के दौरान संस्कृत का ज्ञान हासिल करेंगे | इस 14 दिवसीय प्रशिक्षण के बाद शिक्षक छात्रों को कक्षा में बेहतर तरीके से संस्कृत भाषा का ज्ञान दे पाएंगे | उन्होंने बताया कि प्रदेश के 72 संस्कृत पाठशालाओं में छात्र-छात्राओं को पांच दिवसीय ऑनलाइन कंप्यूटर से संस्कृत भाषा का प्रशिक्षण दिया जाएगा | वहीं, शेष संस्कृत पाठशालाओं में कंप्यूटर लगाए जाने की तैयारी चल रही है |