ई-संजीवनी टेलीमेडिसिन से एक करोड़ से अधिक रोगियों को मिला उपचार
प्रदेश में जनसमुदाय को गुणवत्तापरक प्राथमिक स्वास्थ्य सेवायें प्रदान करने के उद्देश्य से समस्त स्वास्थ्य उपकेन्द्रों, प्राथमिक स्वास्थ्य केन्द्रों एवं शहरी प्राथमिक स्वास्थ्य केन्द्रों को हेल्थ एण्ड वेलनेस सेण्टर के रूप में सुदृढ़ीकृत किया जा रहा है। विभिन्न जनपदों के चिकित्सा महाविद्यालयों, जिला चिकित्सालयों एवं अखिल भारतीय आयुर्विज्ञान संस्थानों (एम्स) में स्थापित टेली मेडिसिन हब की सहायता से समस्त हेल्थ एण्ड वेलनेस सेण्टरों द्वारा टेलीमेडिसिन/टेली कन्सल्टेशन की सुविधायें प्रदान की जा रही हैं। इस प्रकार ई-संजीवनी एप की मदद से मिलने वाली टेलीमेडिसिन/टेली कन्सल्टेशन सुविधा प्राप्त करने वाले लाभार्थियों का आंकड़ा एक करोड़ को पार कर गया है।
टेलीमेडिसिन/टेली कन्सल्टेशन सेवा के अर्न्तगत रोगियों द्वारा पराचिकित्सक/चिकित्सक के माध्यम से सामान्य एवं विशेषज्ञ चिकित्सक से चिकित्सकीय परामर्श प्राप्त किया जाता है। इस सुविधा के अंतर्गत रोगी सर्वप्रथम हेल्थ एण्ड वेलनेस सेन्टर पर पहुँचता है, जहाँ पर रोगी की विभिन्न प्रकार के परीक्षण व जाँचें की जाती है। तत्पश्चात् हेल्थ एण्ड वेलनेस सेन्टर पर तैनात कम्यूनिटी हेल्थ ऑफिसर/चिकित्साधिकारी द्वारा रोगी के परीक्षण एवं जाँच सम्बन्धी समस्त जानकारी पोर्टल पर अंकित की जाती हैं। जहां से सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र व प्राथमिक स्वास्थ्य केंद्र पर तैनात चिकित्सकों से परामर्श लिया जाता है, रोगी की स्थिति की गंभीरता को देखते हुए प्रदेश के विभिन्न जनपदों के जिला चिकित्सालयों, चिकित्सा महाविद्यालयों एवं अखिल भारतीय आयुर्विज्ञान संस्थानों (एम्स) में स्थापित टेली मेडिसिन हब पर उपलब्ध चिकित्सक एवं एक्सपर्ट डाक्टर्स को कॉल कनेक्ट करते हुए वीडियो कांफ्रेंसिंग के माध्यम से रोगियों को चिकित्सकीय परामर्श प्रदान कराया जाता है।
चिकित्सक एवं एक्सपर्ट डाक्टर्स द्वारा दी गई ई-प्रिसक्रिप्शन के अनुसार रोगी को हेल्थ एण्ड वेलनस सेण्टर, सी.एचसी, पी.एच.सी. पर ही औषधियाँ एवं अन्य सुविधायें प्रदान की जाती है। जनसमुदाय को ई-संजीवनी ओ.पी.डी. के माध्यम से उनके निवास स्थल से भी टेली मेडिसिन के द्वारा स्वास्थ्य सेवायें प्रदान किये जाने की सुविधा मील का पत्थर साबित हो रही है। इस सुविधा द्वारा आमजन बिना चिकित्सालय जाये सीधे चिकित्सकों से परामर्श कर रहे हैं। ई-संजीवनी टेलीमेडिसिन कार्यक्रम उत्तर प्रदेश में माह जुलाई से प्रारम्भ किया गया था, जिसमें कोविड-19 महामारी के दौरान रोगियों को घर बैठे चिकित्सकों से परामर्श प्राप्त करने में यह सेवा अत्यधिक लाभप्रद साबित हुई थी।