जाति धर्म से ऊपर उठकर और राष्ट्र धर्म से जुड़कर आत्मनिर्भर भारत का सपना साकार करें
देश आजादी का अमृत महोत्सव मना रहा है, जिसके परिणाम विभिन्न क्षेत्रों में दिखाई पड़ने लगे हैं। महिलाओं की भागीदारी हर क्षेत्र में बढ़ी है। आज यह स्थिति है कि बहनें युद्धक विमान और समुद्री पोतों का संचालन कर रही हैं। यह बातें यूपी की राज्यपाल आनंदीबेन पटेल ने आज़ादी के अमृत महोत्सव पर आयोजित राष्ट्रहित सर्वोपरि कार्यक्रम के 11वें अंक में व्यक्त किए। कार्यक्रम सरस्वती कुंज, निराला नगर के प्रो. राजेन्द्र सिंह (रज्जू भैया) उच्च तकनीकी (डिजिटल) सूचना संवाद केन्द्र में विद्या भारती, एकल अभियान, इतिहास संकलन समिति अवध, पूर्व सैनिक सेवा परिषद एवं विश्व संवाद केन्द्र अवध के संयुक्त अभियान में चल रहा है।
कार्यक्रम अध्यक्ष राज्यपाल ने कहा कि हमें अपना गौरवशाली इतिहास याद रखना चाहिए। अपनी पीढ़ी को ऐसी घटनायें याद दिलाना चाहिये। ताकि वे संस्कारवान बन सकें। देश की आजादी के लिए हुए आंदोलनों और कई क्रांतिकारी घटनाओं के सम्बंध में हमारे स्कूलों में पढ़ाया जाना चाहिये। ताकि बच्चे अपने पूर्वजों का इतिहास जानें और उनसे प्रेरणा लेकर आगे बढ़ सकें। उन्होंने कहा कि क्रांतिकारियों की सभी घटनायें हमें इस बात की याद दिलाती हैं कि हम एकजुट होकर, जाति धर्म से ऊपर उठकर राष्ट्र धर्म से जुड़ें और एक आत्मनिर्भर भारत का सपना साकार करें।
यही कारण है कि प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी के नेतृत्व में आजादी का अमृत महोत्सव मनाया जा रहा है। आजादी का यह अमृत महोत्सव हमें प्रेरणा दे रहा है। आजादी का अमृत महोत्सव नये विचारों, संकल्पों तथा आत्मनिर्भरता का महोत्सव है। उन्होंने कहा कि स्वतंत्रता संग्राम सेनानियों, क्रांतिवीरों तथा सैनिकों के बलिदान से देश की आजादी के साथ-साथ हमारी सीमाएं सुरक्षित है, ऐसे अमर शहीदों को मेरा शत्-शत् नमन है। उन्होंने नई शिक्षा नीति को लेकर विद्या भारती द्वारा किए जा रहे कार्यों की सराहना की। उन्होंने महिला सशक्तीकरण पर भी जोर दिया।
मुख्य अतिथि परमवीर चक्र से सम्मानित कैप्टन योगेन्द्र सिंह यादव ने कहा कि हमारे देश के सभी लोगों ने अपने-अपने दायित्वों का सही निर्वहन किया, इसी कारण से हम सभी आजादी का अमृत महोत्सव मना रहे हैं। उन्होंने कहा कि आजादी में अपनी कुर्बानी देने वाले उन वीर सपूतों व वीरागांनाओं के बारे में युवा पीढ़ी को बताने की जरूरत है, जिन्हें हम भूल गए हैं। आज हमें किसी भी राष्ट्र की तरफ नजरें झुकाने की जरूरत नहीं, हम नजर से नजर मिलाकर बात करने में सक्षम हैं। उन्होंने कहा कि देशभक्ति के लिए वर्दी की जरूरत नहीं है, आप जिस भी क्षेत्र में हैं, उसमें अच्छा करें। विशिष्ट अतिथि वेद प्रकाश ने कोरोना काल में प्रदेश सरकार और स्वास्थ्य विभाग की ओर से किए गए कार्यों का उल्लेख किया। उन्होंने कहा कि अदृश्य दुश्मन यानि कोरोना वायरस से प्रत्येक चिकित्सक ने पूरे मनोयोग से लड़ाई लड़ी है, जिस वजह से हम कोरोना को हरा पाए हैं। इस दौरान विद्याभारती के तमाम पदाधिकारी मौजूद रहे।