ग्रामीण परिवारों को 100 दिवसों का पूर्ण रोजगार उपलब्ध कराने में उत्तर प्रदेश,देश में प्रथम स्थान पर
महिला सशक्तिकरण व स्वावलंबन की दिशा में ग्राम्य विकास विभाग द्वारा उप मुख्यमंत्री केशव प्रसाद मौर्य के नेतृत्व, निर्देशन व प्रबन्धन में महत्वपूर्ण व प्रभावी कदम उठाए गए हैं। फलस्वरूप वर्ष 2016-17 मनरेगा में महिलाओं की सहभागिता 33प्रतिशत थी, वहीं अब बढ़कर 43 प्रतिशत से अधिक हो गयी है।
मनरेगा योजनान्तर्गत 2017से अब तक प्रदेश में कुल 1.76 करोड़ महिलाओं द्वारा कार्य करते हुए 60.90 करोड़ मानवदिवस का सृजन किया गया है। मानव दिवस सृजन में महिला सहभागिता वित्तीय वर्ष 2016- 17 में 33 प्रतिशत से बढ़ाकर 2021-22 में 38 प्रतिशत की गई। वित्तीय वर्ष 2022-23 में 30.75 लाख महिला श्रमिकों को रोजगार उपलब्ध कराया गया एवं मानव दिवस सृजन में महिला सहभागिता 38 प्रतिशत रही।
वित्तीय वर्ष 2023-24 में महिलाओं की सहभागिता 43.04 प्रतिशत है। मनरेगा योजनान्तर्गत 20 या 20 से अधिक श्रमिकों वाले मनरेगा कार्यस्थल पर पर्यवेक्षण हेतु महिला मेट का नियोजन किया जाता है। ग्राम्य विकास आयुक्त श्री जी एस प्रियदर्शी ने बताया कि वित्तीय वर्ष 2023-24 में 32437 से अधिक महिला मेट का नियोजन किया गया है। उत्तर प्रदेश ग्रामीण परिवारों को 100 दिवसों का पूर्ण रोजगार उपलब्ध कराने में देश में प्रथम स्थान पर है।